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क्यों छोड़े धुम्रपान, क्या है बीड़ी छोड़ने के फायदे? सिगरेट छोड़ने के फायदे?

बीड़ी छोड़ने के फायदे

धूम्रपान एक ऐसी आदत है जिसे अच्छा कोई नही मानता, लेकिन करते ज्यादातर लोग है। धूम्रपान के फायदे कोई नहीं है बस नुकसान है है, सब इसके नुकसान जानते है लेकिन छोड़ना नही चाहते। यहां तक कि नई जनरेशन धूम्रपान को स्टाइल स्टेटमेंट मानने से भी गुरेज नही करती। धूम्रपान को ग्लोरीफाई करने में बहुत बड़ा हाथ फिल्मों, वेब सीरीज और नाटकों का भी है।

धूम्रपान के नुकसान तो सभी जानते है। लेकिन क्या आप जानते है कि जब आप धूम्रपान छोड़ते आपके शरीर पर क्या इफ़ेक्ट आता है।
आज इस आर्टिकल में हम आपको सिगरेट छोड़ने के फायदे बताएंगे।

धूम्रपान छोड़ने से शरीर में होने वाले बदलाव

धूम्रपान छोड़ने या आखिरी सिगरेट, बीड़ी पीने के बाद मिनट दर मिनट आपके शरीर पर अच्छा प्रभाव पड़ने लगता है। जिसे लोग धूम्रपान के फायदे समझ लेते हैं, आइए, जानते हैं कि धूम्रपान छोड़ने के बाद कितने समय में हमारे शरीर में क्या-क्या बदलाव आते हैं।

आपको धूम्रपान से होने वाली गम्भीर बीमारियो का खतरा लगभग खत्म हो जाता है। धूम्रपान से होने वाले रोग जैसे, सर्वाइकल कैंसर, मुंह, गले और ब्लैडर का कैंसर, पैंक्रियाज और वॉइस बॉक्स का कैंसर, लंग कैंसर

धुम्रपान छोड़ने के फायदे-Bidi Chodne Ke Fayde

अब आपको संक्षेप में बीड़ी छोड़ने के फायदे मतलब धूम्रपान छोडने के फायदे बताते है।

ओरल हेल्थ

धूम्रपान छोड़ने का असर आपके ओरल हेल्थ पर दिखाई देता है। आपके दांत भद्दे ओर काले रंग से साफ हो जाते है। सांसो से बदबू नही आती। आपका स्वाद बेहतर बनता है।

धूम्रपान छोड़ने से शरीर में हानिकारक केमिकल का स्तर कम होता है। जिससे मानसिक स्वास्थ्य सुधरता है।

उम्र बढ़ाए

धूम्रपान छोड़ना आपके जीवन काल मे कुछ स्वास्थ्य से भरपूर वर्ष जोड़ देता है। आप अपने लक्ष्य और मंजिल के प्रति उत्साह पूर्वक अग्रसर हो सकते है।

जवां दिखाए

धूम्रपान से त्वचा निस्तेज होती है, चेहरे पर असमय झाईआ और झुर्रियां दिखती है। धूम्रपान छोड़ने से बॉडी को ऑक्सीजन के द्वारा भरपूर न्यूट्रिशन मिलता है। जिससे त्वचा चमकदार होती है, झाइयां दूर होती है और आप खुद को जवां महसूस करते हो।

फर्टिलिटी बढ़ाए

धूम्रपान छोड़ने से यौन शक्ति बढ़ने के साथ साथ स्पर्म क्वालिटी और क्वांटिटी बढ़ती है। फर्टिलिटी इम्प्रूव होती है। महिलाओं में यूट्रस लेयर बेहतर बनती है।

डिप्रेशन कम होता है

लोग कहते है कि धूम्रपान करने से तनाव कम होता है। जबकि यह पूर्णतया गलत है। जो चीज़ शरीर को नुकसान पहुँचा रही है वो मानसिक शक्ति को कमजोर ही करेगी।

इसलिए धूम्रपान छोड़ने से आपको तनाव, अवसाद और डिप्रेशन से आराम मिलेगा। जो की धूम्रपान के फायदे नहीं है बल्कि नुकसान है।

एनर्जी बढ़ाये

धुम्रपान छोड़ने से बॉडी में ऑक्सीजन का फ्लो बहुत बेहतरीन हो जाता है। जिससे पूरे शरीर को विटामिन्स एंड मिनरल्स अच्छी तरह से मिलते है। जिससे आपको एक नई ऊर्जा का अहसास होगा।ऑक्सीजन की इस भरपूर आपूर्ति के कारण मसल्स भी मजबूत होती है, इस कारण किसी भारी काम को करने की क्षमता बढ़ जाती है।

ये थे धूम्रपान छोड़ने के फायदे अब आप समझ ही गए होंगे। धूम्रपान छोड़ने के केवल फायदे है नुकसान नही होता।

धूम्रपान क्या होता है

धूम्रपान एक नशा है। जिसे हमारे पूर्वज भी करते आए हैं तंबाकू एक पत्ता है जिसे सुखा कर खाने से या उसको जलाकर उसके धुए को सूंघने ने से या घूंट मार कर पीने से नशा होता है। पहले लोग तंबाकू को हुक्के में डालकर पिया करते थे। इसमें हुक्के में नीचे अंगार रखे जाते थे जोकि गोबर के कंडे के होते थे। उसके ऊपर तंबाकू रखा जाता था और फिर एक लंबी सी डंडी से उस तंबाकू को घूंट घूंट कर के पिया जाता था।अब लोग बीड़ी या सिगरेट पीना पसंद करते हैं

धूम्रपान के बाद फेफड़ों को कैसे साफ करें?

धूम्रपान के बाद फेफड़ों को साफ करने के लिए कुछ लोग अदरक या इलायची चबाते हैं। ऐसा वे धुए की दुर्गंध उनके मुंह में लंबे समय तक ना बनी रहे इसलिए करते हैं। इसके साथ साथ ये उत्पाद आपके फेफड़ों को सुरक्षित रूप से साफ करने का काम करते हैं । अदरक में एंटी इन्फ्लेमेटरी गुण पाए जाते हैं जोकि आपके फेफड़ों को साफ करने में मदद करते हैं। इलायची, हल्दी, सेब लहसुन, ग्रीन टी आदि ऐसे ही प्राकृतिक उत्पाद है। जिनके औषधीय गुण फेफड़ों को साफ करने में मददगार होते हैं। ये शरीर को अंदर से डिटॉक्सिफाइड करते हैं। यदि आपने हाल ही में स्मोकिंग छोड़ दी है, तो फेफड़ों को पहले की तरह साफ और स्वस्थ करने के लिए एक्सरसाइज करें, हर दिन 8-10 गिलास पानी पिए, एंटीइंफ्लामेटरी गुणों से भरपूर फ़ूड जैसे पालक, ब्लूबेरी, ग्रीन टी, चैरी, बादाम और ऑलिव का सेवन करे।

धूम्रपान क्यों नहीं करना चाहिए

धूम्रपान करने से हमारे शरीर में निकोटीन और अन्य कई खतरनाक रसायनिक पदार्थ अपनी जगह बनाने लगते हैं। इस धुएं में कार्बन मोनोऑक्साइड नाइट्रोजन ऑक्साइड आदि अनेक रेडियोधर्मी यौगिक तत्व पाए जाते हैं। हमारे फेफड़ों में इन यौगिक पदार्थों की एक परत बनने लगती है। और कुछ समय बाद हमारे फेफड़े काम करना बंद कर देते हैं। जिसके कारण हमें 40 तरह के कैंसर हो सकते हैं। ।तंत्रिका तंत्र की बीमारियां होने लगती हैं। है। धूम्रपान करने वाले व्यक्ति को थायराइड, कफ, खांसी, सांस फूलना, ब्लड प्रेशर आदि रहने लगत है।मधुमेह और आंखों की समस्याएं भी रहने लगती है।

धूम्रपान छोड़ने के बाद क्या होता है?

यदि आप चेन स्मोकर है और हर 20 मिनट बाद धूम्रपान करते है। तो अगर आप आधे घण्टे से एक घण्टे तक धूम्रपान नही करेंगे तो आपकी हृदय गति, पल्स रेट और ब्लड प्रेशर सामान्य स्थिति में आने लगेगा। यदि आप लगातार 8 से 10 घण्टे धूम्रपान न करे तो आपके खून में निकोटीन और कार्बन मोनोऑक्साइड का लेवल कम होता चला जायेगा 24 से 48 घंटे बाद शरीर में ऑक्सीजन की क्वालिटी और क्वांटिटी सामान्य होने से ब्लड वेसल्स स्वस्थ होने लगती हैं। जिससे फेफड़े म्यूकस और अन्य स्मोकिंग के कणों को बाहर करके साफ होने लगते हैं। 72 घण्टे से 1 महीने बाद फेफड़ों की कार्यक्षमता सुधरने लगती है। जिससे आपको वाकिंग, रनिंग, एक्सरसाइज करने में होने वाली परेशानी कम हो जाती है और सांस फूलना कम हो जाता है। 9 महीने से एक साल बाद आपके शरीर मे किसी भी प्रकार का टॉक्सिन्स नही बन पाता। और आपको दिल की बीमारी होने का खतरा स्मोकिंग करने वाले व्यक्ति के मुकाबले आधा हो जाता है। यदि आप डेडिकेशन से धूम्रपान छोड़े रखते है तो, आपका शारीरिक सिस्टम एक कभी भी धूम्रपान न करने वाले व्यक्ति के जैसे काम करने लगता है।

धूम्रपान करने से कौन सा रोग होता है?

सही मायनों में धूम्रपान एक धीमा जहर है, जो विषैले तत्वों को शरीर मे प्रवेश कराता है। इसके नुकसान इग्नोर करने का सबसे बड़ा कारण है इसका बुरा असर देर से दिखाई देता है। इंसान की आंखे तब खुलती है जब वो कैंसर, हाई ब्लड प्रेशर, लंग इंफेक्शन जैसी समस्याओं से ग्रस्त हो जाता है।

तंबाकू के फायदे

तंबाकू में निकोटिन पाया जाता है जोकि अल्जाइमर, डिमेंशिया जैसी बीमारियों के इलाज में मददगार होता है। ऐसा कहा जाता है कि जो लोग धूम्रपान का सेवन करते हैं उनको अल्जाइमर होने की संभावनाएं काफी कम होती है। इसके अलावा धूम्रपान करने वाले लोगों को लगता है कि इससे उनका आत्मविश्वास बढ़ता है। उनको कब्ज की समस्या से राहत मिलती है। कुछ महिलाएं इसे महिला सशक्तिकरण का प्रतीक मानने लगी है। धूम्रपान को लोग एक तनाव मुक्ति एवं मनोरंजन का साधन मानते हैं , कार्य की थकान से खुद को रिलैक्स करने के लिए भी वे धूम्रपान करते हैं।

धूम्रपान के नुकसान

धूम्रपान करने से निकोटीन हमारे फेफड़ों से होता हुआ हमारे पूरे शरीर में फैलने लगता है। जिसके कारण धूम्रपान करने वाले व्यक्ति को कैंसर व अनेक बीमारियां हो जाती हैं। मुख्य तौर पर यह कैंसर गले का कैंसर फेफड़ों का कैंसर, सर्वाइकल कैंसर होता है । तंत्रिका तंत्र की समस्याएं, हृदय रोग, टीवी और फेफड़ों की अन्य बीमारियां भी हो सकती है। धूम्रपान करने वाले व्यक्ति को खांसी और कफ, दमा की समस्या तो हमेशा ही रहती है। धूम्रपान करने वाले व्यक्ति को ब्रेन स्ट्रोक, थायराइड वा मधुमेह की संभावना सर्वाधिक होती है।धूम्रपान करने से मोतियाबिंद भी हो सकता है।

अचानक से सिगरेट छोड़ने के नुकसान

जब आप अचानक से सिगरेट छोड़ते हैं तो आपके शरीर मैं बेचैनी और चिड़चिड़ापन होने लगता है। आपके आपके हाथ पैर कांपने लगते हैं। ‌ सिगरेट ना मिलने पर आप व्याकुल होने लगते हैं। आप के सर में चक्कर आते हैं वे हर दर्द रहने लगता है। आपको ध्यान केंद्रित करने में परेशानी होती है। आपको काफी गुस्सा आता है। आप चिड़चिड़े हो जाते हैं और आपका मन उदास रहता है। खाना खाने का मन नहीं करता। कुछ लोगों को बहुत भूख लगती है। मुंह में छाले रहने लगते हैं। कब्ज सर्दी जुकाम खांसी आदि भी समस्याएं होने लगती है।

सीगरेट पीने के बाद क्या खाना चाहिए

धूम्रपान के बाद सबसे ज्यादा नुकसान हमारे फेफड़ों को होता है। हमारे पास कुछ ऐसे खाद्य पदार्थ है जो फेफड़ों को साफ करते हैं और इस नुकसान को कम करने का प्रयास करते हैं। हमें धूम्रपान के बाद अपने भोजन में इन सभी का प्रयोग करने की आदत डाल लेनी चाहिए। ग्रीन टी एक ऐसा पेय पदार्थ है जो कि एन्टीआक्सीडेंट से भरपूर है। हरी पत्तेदार सब्जियां हमारे शरीर की रक्त वाहिनीयों को साफ करती है। इन्हें सलाद की तरह या भोजन में अवश्य लें। सेब एक ऐसा फल है जो विटामिन ऑन एंटी एक्सीडेंट से भरपूर होता है।

धूम्रपान छोड़ने की दवा

डॉक्टर आपको धूम्रपान छोड़ने की अनेक दवाई बताएंगे लेकिन अगर हम चाहे तो हमारे पास घर में भी काफी कुछ है। जिसे अपनाकर हम इस बुरी आदत को छोड़ सकते हैं। अगर हम जब धूम्रपान की इच्छा करें तब सौफ चबएं। अदरक आंवले का चूर्ण, मुलेठी का पाउडर को जब धूम्रपान की इच्छा हो तब थोड़ा-थोड़ा खा ले।।मूली के रस व शहद को मिलाकर दिन मैं दो बार पीये। धूम्रपान करने वाले लोगों की संगत से बचें। अगर आप इन नियमों का पालन करेंगे तो कुछ समय बाद आपकी धूम्रपान करने की इच्छा अपने आप समाप्त हो जाएगी।

धूम्रपान कितने प्रकार का होता है?

एक्टिव स्मोकिंग में व्यक्ति स्वयं धूम्रपान करता है जिसके कारण उसे धूम्रपान के कारण नुकसान उठाना पड़ता है। पैसिव स्मोकिंग में धूम्रपान करने वाले व्यक्ति के कारण उसके साथ रहने वाले व्यक्ति को नुकसान होता है। पैसिव स्मोकर को लंग कैंसर का खतरा होने लगता है इसके अलावा पैसिव स्मोकर की इम्यूनिटी वीक होने लगती है। ऐसे व्यक्ति को दिल की बीमारियां भी रहने लगती है।

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