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कब्ज में गुलकंद कैसे और कितना ले? क्या है कब्ज में गुलकंद के फायदे ?

कब्ज में गुलकंद के फायदे

गुलकंद का नाम आते ही, गुलाब के महकते ताजा फूल आँखों के सामने आ जाते हैं। जी हाँ गुलकंद  गुलाब की पंखुड़ियों से ही बनाया जाता है, ऐसे समझ लिजीए जैसे गुलाब का मुरब्बा। ये गुलाब के फूल की ताजी पंखुड़ियों से तैयार किया जाता हैं। मीठे स्वाद के लिए इसमें  चीनी का इस्तेमाल भी करतें हैं। ये तासीर में ठंडा होता है इसलिए इसका सेवन ज्यादातर गर्मियों में करते हैं।

गुलकंद स्वादिष्ट तो होता ही है साथ ही साथ यह –

कई खतरनाक बीमारियों से भी हम सबका बचाव करता है। मुख्यत  ये पेट पर कार्य करता है पाचन तंत्र से जुड़ी समस्याओं को दूर करता है, जिनमें कब्ज, बदहजमी और गैस मेन हैं। और  आप सब जानते ही हैं कि जब डाईजेशन सही रहता है तो अच्छी भूख लगती है, शरीर में ताकत बढ़ती है और नींद भी अच्छी आती है।

  • अपनी ठंडी प्रकृति के कारण गुलकंद आंखों की रोशनी बढ़ाने और आंखों में जलन तथा कंजेक्टिवाइटिस बीमारी में काफी लाभदायक होता है।
  • गुलकंद अपने बेहतरीन स्वाद और महकती खुशबू के कारण मूड को फ्रेश करता है तो यदि आपको सिर दर्द अथवा मूड स्विंग होने की समस्या है तो ऐसे में गुलकंद का प्रयोग लाभकारी रहेगा ।
  • अक्सर पेट में गर्मी और कब्ज के कारण मुंह में छाले हो जाते हैं ऐसे में गुलकंद का प्रयोग लाभदायक होता है गुलकंद मुंह के छालों को खत्म कर देता है।
  • गर्मी के मौसम में लू लगने अथवा शरीर में गर्मी होने पर गुलकंद का प्रयोग ठंडक प्रदान करता है।

लेकिन अब सवाल उठता है कि कब्ज में गुलकंद कैसे और कितना ले? जो आशानुरूप लाभ मिलें, तो चलिए बताते हैं कि उपयोग कैसे करें ..

  • रात में दूध के साथ थोड़ा सा गुलकंद लेते हैं, इसे दूध में घोलकर भी पी सकते हैं तो नींद अच्छी आती है और शरीर को ठंडक पहुँचती है ।
  • अगर  पानी के साथ मिलाकर इसे घूट-घूट करके पीते हैं तो एसिडिटी और बहदजमी से छुटकारा  मिलता है।
  • आपको अगर खाने के बाद मीठा खाने की आदत है तो आप गुलकंद खाइयें, इससे पाचनतंत्र को सपोर्ट भी मिलेगा और मीठे की तलब भी शांत होगी।

कब्ज में गुलकंद कैसे और कितना ले?

अगर किसी को ये समस्या है तो और आप कई तरह के नुस्खे आजमाकर थक चुके हैं तो गुलकंद का प्रयोग कीजिए । गुलाब की पत्तियों को चीनी के साथ मिलाकर बनाया गया गुलकंद पेट की हर समस्या को दूर करने की एक उपयोगी औषधि है। गुलकंद की तासीर ठंडी होती है इस वजह से यह पेट में होने वाली गर्मी को शांत करता है । खाना खाने के बाद 1 से 2 चम्मद गुलकंद जरूर लीजिए। इससे पाचन तंत्र बेहतर काम करेगा, धीरे धीरे कब्ज की समस्या में आराम मिलेगा।

आयुर्वेद के एक्सपर्ट बताते हैं कि  गुलकंद आंतों में हेल्पफुल गट बैक्टीरिया बढ़ाने में हैल्प करता है, जिससे आंतो की हैल्थ अच्छी होती है और खाना अच्छी तरह पचता है।

आप खुद ही अनुभव करेंगें कि सुंगध और मिठास से भरा गुलकंद पेट के लिए कितना फायदेमंद है। आप इसे कभी भी अपनी डाईट में शामिल कर सकते हैं,

लेकिन एक जरूरी बात ये कि जो मधुमेह के रोगी हैं वे बिना डॉक्टर की सलाह के नहीं लें। क्योंकि गुलकंद की तासीर ठंडी होती है इसलिए सर्दी, जुकाम ,अस्थमा और सांस संबंधी किसी भी प्रकार की समस्या होने पर इसका प्रयोग करने से बचना चाहिए तथा सर्दियों में गुलकंद का प्रयोग बहुत ही सीमित मात्रा में करना चाहिए।

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सामान्य प्रश्न

गुलकंद कितनी मात्रा में खाना चाहिए?

गुलकंद अपने आप में एक औषधि है। जो पेट से संबंधित अनेकों बीमारियों को दूर करती है। यदि आप नियमित रूप से एक चम्मच गुलकंद का सेवन करते है तो पेट से जुड़ी हुई समस्याओं से समाधान पाया जा सकता है। नॉर्मली गुलकंद का सेवन गर्मियों में किया जाता है।

कब्ज के लिए गुलकंद कब खाना चाहिए?

गर्मी में अक्सर लोगों के पेट से संबंधित समस्या और कब्ज की शिकायत रहती है। इस समस्या हेतु गुलकंद रामबाण का काम करता है। खाना खाने के बाद गुलकंद का सेवन करने से कब्ज की समस्या से छुटकारा तो मिलता ही है साथ ही साथ पाचन तंत्र भी मजबूत होता है।

गुलकंद का सेवन कैसे करें?

गुलकंद गुलाब की पंखुड़ियों से बनाया जाता है जो स्वादिष्ट होने के साथ सेहत के लिए भी है बेहतरीन होता है। गुलकंद का सेवन सीधा ही किया जा सकता है अन्यथा इसे पान के साथ भी खाया जा सकता है। गुलकंद का सेवन दूध के साथ करना भी लाभप्रद होगा।

क्या गुलकंद को खाली पेट लिया जा सकता है

गुलकंद को खाली पेट खाने की अपेक्षा इसे खाना खाने के बाद खाना चाहिए। खाना खाने के बाद इसका सेवन करने से यह पाचन से जुड़ी समस्याओं को दूर करता है। खाली पेट गुलकंद का सेवन करने की अपेक्षा इसे दूध से खाया जाना चाहिए।

कब्ज में गुलकंद के फायदे?

गुलकंद कब्ज और गैस बनने जैसी समस्या को दूर करता है। शरीर में अम्लों की अधिकता से भी अपच की समस्या पैदा हो जाती है ठंडी प्रकृति का गुलकंद इसे दूर करता है। शरीर में गर्मी बढ़ने से कब्ज की समस्या आ सकती है अतः गुलकंद इसे भी नियंत्रित करता है।

प्रेगनेंसी में गुलकंद खा सकते हैं क्या?

यदि प्रेगनेंसी सामान्य है और मधुमेह जैसी कोई समस्या नहीं है तो गुलकंद फायदे मंद हो सकता है। गुलकंद शरीर में अनेकों पोषक तत्वों की कमी पूरी करता है। चूंकि गुलकंद ठंडी प्रकृति का होता है। गर्मियों के समय में इसका सेवन पेट में ठंडक प्रदान करता है।

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